तुर्किये के इस्तांबुल शहर में रूस और यूक्रेन के प्रतिनिधियों के बीच तीन वर्षों में पहली बार आमने-सामने की शांति वार्ता शुरू हुई। यूक्रेन की ओर से रक्षा मंत्री रुस्तम उमरोव के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल ने भाग लिया, वहीं रूस की ओर से राष्ट्रपति पुतिन के सहयोगी व्लादिमीर मेडिंस्की के नेतृत्व में एक निम्न-स्तरीय टीम वार्ता में शामिल हुई।
यूक्रेन ने बैठक के दौरान रूस पर अस्वीकार्य शर्तें रखने का आरोप लगाया है। यूक्रेनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता हेओरही टाइखयी ने बताया कि उनकी टीम प्रमुख मुद्दों पर हल निकालने के लिए पूरी तरह तैयार थी। हालांकि, बैठक में दोनों देशों के राष्ट्रपतियों की मौजूदगी नहीं रही।
अंतरराष्ट्रीय समर्थन के साथ वार्ता
इस बैठक से पहले यूक्रेन ने अमेरिका, फ्रांस, जर्मनी और ब्रिटेन के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकारों के साथ अहम बैठक की। अमेरिकी प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व रिटायर्ड लेफ्टिनेंट जनरल कीथ केलॉग ने किया। इसके अलावा, यूक्रेन की ओर से राष्ट्रपति कार्यालय के प्रमुख एंड्री यरमक भी मौजूद रहे। एक त्रिपक्षीय बैठक में तुर्किये, अमेरिका और यूक्रेन के अधिकारी भी शामिल हुए। अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रुबियो ने कहा कि इस संकट का हल सिर्फ पुतिन और ट्रंप की सीधी बातचीत से ही संभव है।
युद्ध विराम की संभावना क्षीण
विशेषज्ञों का मानना है कि इस वार्ता से युद्धविराम की संभावना बेहद कम है, क्योंकि रूस और यूक्रेन की शर्तों में जमीन-आसमान का अंतर है। रूसी राष्ट्रपति पुतिन ने यूक्रेनी राष्ट्रपति जेलेंस्की से मिलने से इनकार कर दिया है। यूक्रेनी सैनिकों का कहना है कि जब तक गर्मियों की लड़ाई का समय खत्म नहीं होता, रूस पीछे नहीं हटेगा।
जेलेंस्की ने लगाया पुतिन पर आरोप
यूक्रेनी राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की ने रूस पर गंभीरता से बातचीत न करने का आरोप लगाते हुए कहा कि पुतिन नहीं चाहते कि यह युद्ध खत्म हो। उन्होंने कहा कि रूस की ओर से बेहद निम्न-स्तरीय प्रतिनिधिमंडल भेजा गया है, लेकिन अमेरिका और तुर्किये के सम्मान में यूक्रेन वार्ता में शामिल हुआ।
ट्रंप-पुतिन की संभावित मुलाकात
पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने संकेत दिए हैं कि वह जल्द ही पुतिन से मुलाकात कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि गतिरोध को समाप्त करने के लिए दोनों नेताओं के बीच सीधी बातचीत आवश्यक है।
रूस पर फिर से हमले की तैयारी का आरोप
यूक्रेन ने अमेरिका और यूरोप के 30 दिन के युद्धविराम प्रस्ताव को स्वीकार कर लिया है, लेकिन रूस ने नई शर्तें जोड़कर इसे खारिज कर दिया। यूक्रेनी सरकार का आरोप है कि रूसी सेनाएं नए सैन्य आक्रमण की तैयारी कर रही हैं। संयुक्त राष्ट्र के अनुसार अब तक इस युद्ध में 12,000 से ज्यादा यूक्रेनी नागरिक मारे जा चुके हैं।