Chhattisgarh | Under the leadership of the Chief Minister, Puskonta got the gift of development through the Niyada Nella Nar scheme, a new ray of light came to the remote area of Chhattisgarh
रायपुर 02 अप्रैल 2025। घना जंगल, टेढ़े-मेढ़े रास्ते, और सूरज ढलते ही छा जाने वाला घना अंधेरा – कुछ समय पहले तक बीजापुर जिले के हीरापुर ग्राम पंचायत के आश्रित ग्राम पुसकोंटा की यही पहचान थी। लेकिन अब तस्वीर बदल चुकी है।
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में संचालित “नियद नेल्लानार योजना” ने वह कर दिखाया, जो लंबे समय से सिर्फ एक सपना था। गांव के प्रत्येक घर में जब पहली बार बल्ब जला, तो वह एक नए जीवन की शुरुआत थी।
पुसकोंटा के ग्रामीण देवा कुंजाम, भीमा माड़वी, नागू पोट्टाम और जमुना मिच्चा की आँखों में यह चमक साफ़ देखी जा सकती है, जो उम्मीद और विश्वास की होती है।
देवा कुंजाम बताते हैं, “पहले अंधेरा ऐसा होता था कि जंगली जानवरों का डर हर समय बना रहता था। लेकिन अब गांव में रोशनी है, और साथ ही सुरक्षा का भी एहसास।”
पीने का पानी अब घर के द्वार पर
गृहिणी जमुना मिच्छा कहती हैं, “जल जीवन मिशन के तहत हर घर में नल होने से अब हमें पानी के लिए हैण्डपंप तक नहीं जाना पड़ता। पहले बच्चों को अकेला छोड़कर पानी लाने जाना पड़ता था, अब घर में ही पानी है, तो बच्चों का भी ठीक से ध्यान रख पाती हूं।”
सपनों को पंख देने वाला प्रशासन
भीमा माड़वी के लिए तो यह बदलाव कुछ और ही मायने रखता है। वे पहली बार रायपुर देखने गए – एक ऐसा अनुभव जो पहले कभी कल्पना में भी नहीं था। वे कहते हैं, “मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय जी की पहल के कारण आज पुसकोंटा जैसे दूरदराज गांव के ग्रामीण भी राजधानी के विकास कार्यों को देख पा रहे हैं।”
बिजली, पानी, सड़क, मोबाइल टावर, स्कूल, आंगनबाड़ी – एक समग्र बदलाव
नियद नेल्लानार योजना सिर्फ एक योजना नहीं, बल्कि एक विजन है – वह विजन जो हर गांव को विकास की मुख्यधारा से जोड़ता है। अब पुसकोंटा जैसे गांवों में न सिर्फ रोशनी आई है, बल्कि संभावनाओं की नई सुबह भी हुई है। प्रधानमंत्री आवास, शौचालय, स्वास्थ्य और शिक्षा जैसी सुविधाएं अब यहां दस्तक दे रही हैं। ये बदलाव सिर्फ सुविधा का नहीं, बल्कि सम्मान और आत्मनिर्भरता का है।
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में यह स्पष्ट हो चुका है कि कोई भी गांव अब ‘दूर’ नहीं है, और कोई भी सपना अब ‘असंभव’ नहीं है।