नई दिल्ली: यह फोटो देखने पर कोई भी व्यक्ति पहले सोच सकता है कि यह कोई कर्मकांडी ब्राह्मण हैं—धोती, शिखा और जनेऊ में लिपटे हुए। लेकिन जो नहीं जानते, उन्हें यह जानकर हैरानी होगी कि यह हैं डॉ. जयतीर्थ जोशी, जो ब्रह्मोस मिसाइल बनाने वाली कंपनी के मैनेजिंग डायरेक्टर और CEO हैं।
आपने सही पढ़ा—जिस ब्रह्मोस मिसाइल के दम पर भारत आज अपनी रक्षा नीति में दुनिया भर में ताकतवर देशों की कतार में खड़ा है, उसके पीछे इन्हीं कर्मठ ब्राह्मण का मस्तिष्क है। जिन्हें कुछ लोग “सिर्फ कर्मकांडी” कहकर नजरअंदाज कर देते हैं, उन्होंने ईश्वर और गुरु की कृपा से भारत को एक ऐसी मिसाइल दी है, जिसकी गूंज विश्व स्तर पर सुनी जाती है।
ब्रह्मोस जैसी सुपरसोनिक मिसाइल आज भारत की सुरक्षा की रीढ़ है। और जब हम रात को अपने मोबाइल लेकर चैन की नींद सोते हैं, तो उसके पीछे कहीं न कहीं डॉ. जयतीर्थ जोशी जैसे वैज्ञानिकों का ही योगदान है—जो परंपरा से भी जुड़े हैं और विज्ञान में भी शीर्ष पर हैं।
उनका जीवन इस बात का जीता-जागता उदाहरण है कि भारतीय संस्कृति, धर्म और वैज्ञानिक सोच साथ-साथ चल सकते हैं। वे हर उस युवा के लिए प्रेरणा हैं, जो सोचता है कि आधुनिक बनने के लिए अपनी परंपराओं को छोड़ना ज़रूरी है।